Wednesday 8 February 2017

गम

क्यूँ  सहम जाता है तू छोटे से तूफ़ान आने पर। ...
क्यूँ डगमगा जाते है कदम जिंदगी में रुकाव आने पर..

आएं जो गम तो  हस कर गले लगा कर तो देख...
आँसुओं में अपनों के लिए मुस्कुरा कर तो देख। ..

चलेगी सारी दुनिया तेरे साथ हाथ मिलाकर। ..
जीत ले सारी  खुशियां तू ज़रा सा मुस्कुराकर। .. 

अगर फिर भी लगे गम तेरे गोद में ज्यादा दे दिए है। ..
उनके बारें में सोचना जिन्हें उसने माँ बाप ना दिए है। .

ना दिया है उन्हें कोई अपना। ..
ना पूरा हुआ कोई सपना। ...

जब आ जाये कोई मुसिबत उस दोस्त को याद करना। ..
बता कर पूरी बात सीखना कैसे उभरना। ..

मिलेगी नयी उड़ान जैसे पंछी को मिलती है। ..
गम के अंधेरो में उदासी कहाँ खिलती है।..

हुआ जो तू परेशान तो सब खत्म हो जायेगा गा। ..
गुस्से में तू ए इंसा कुछ सोच समझ ना पायेगा। ..

गलती कर एक बहुत बड़ी बाद में पछतायेगा। .
याद रखना ऐ मेरे दोस्त बीता पल वापिस न आएगा। ..

सोच  समझ कर फ़ैसला करना जब मन शांत हो जायेगा। ..
उस समय तुझे ऐ बन्दे सम्स्या का समाधान भी मिल जायेगा। ...

क्यूँ  सहम जाता है तू छोटे से तूफ़ान आने पर। ...
क्यूँ डगमगा जाते है कदम जिंदगी में रुकाव आने पर..